जैसे ही यह खबर आई कि केजरीवाल दस कमरों वाला डुप्ले घर ले रहे हैं कुछ लोगों में खलबली मच गई. लोगों का कहना यह था कि चुनाव से पहले तो केजरीवाल ने कहा था कि वह घर नहीं लेंगे, उनके मंत्री सरकारी गाड़ी नहीं लेंगे. अब जब लोगों ने उनके सादगी को देखकर उन्हें जनमत दे दी वह सरकारी घर और गाड़ी लेने जा रहे हैं. मुझे समझ नहीं आ रहा कि लोगों को मंत्रियों की दिनचर्या उनके घर, उनकी गाड़ी वगैरह में इतनी दिलचस्पी क्यों है...अरे जनमत दिया है बदलाव के लिए तो पहले वह तो होने दो... हाय तौबा करने की क्या जरूरत.
बदलाव के लिए जरूरत होती है धैर्य की सब कुछ अचानक ही नहीं हो जाता . आज कांग्रेस और बीजेपी दोनों के पास जब बोलने के लिए कुछ नहीं बचा तो इन छोटी-छोटी बातों को लेकर ही टुट रहे हैं.
मुझे नहीं लगता कि अगर केजरीवाल 10 या फिर 15 कमरों वाले घर में रहे से कुछ ज्यादा फर्क पड़ने वाला है. देखना ही है तो थोड़ा इंतजार किजिए और काम देखिए. केजरीवाल को भी सिर्फ कुछ लोगों की आलोचनाओं पर ध्यान ना देते हुए अपने काम पर ध्यान लगाना चाहिए. कहते हैं ना विपक्षी होते ही इसलिए है कि वह आप पर बगुले की तरह निगाहें गड़ा कर बैठे रहें और मौका मिलते ही निगलने की कोशिश करें. यह तो उनका काम ही है जैसा कि हमने पहले दिन दिल्ली विधानसभा में भी सुना बीजेपी के डॉ. हर्षवर्धन को. वह किस तरह की बचकानी बाते बोल रहे थे जिसे सुनकर हसी आ रही थी कि इन्हें हो क्या गया है. खैर..,
जब शपथ ग्रहण के लिए मेट्रो से अऱविंद केजरीवाल गए तो कई नेताओं ने यह भी कहा कि यह सिर्फ दिखावा है. कुछ का कहना था कि इससे आम जनता को परेशानी हो रही है. अब जब मंत्री सरकारी गाड़ी ले रहे है तो वही लोग हाय तौबा मचा रहे हैं. अगर ये सारे नेता पब्लिक ट्रांसपोर्ट का प्रयोग करने लगे तो वे अपना और जनता दोनों का समय बर्बाद करेंगे. समझदारी इसी में है कि उन्हें थोड़ा समय दिया जाए और अपने ढ़ंग से काम की आाजादी भी.
दिल्ली की जनता को भी इन बातों पर ध्यान ना देतें हुए सोचना चाहिए कि कम से कम पहले से कुछ तो बदलाव आ रहा है. लोग अपनी शिकायतें और परेशानियों को लेकर खुद मुख्यमंत्री के घर तक पहुंच तो पा रहे हैं. एक मुख्यमंत्री होने के नाते अरविंद केजरीवाल के पास सरकारी गाड़ी, सुरक्षा
और घर तीनों चीजें ही होनी चाहिए. यह एक मुख्यमंत्री की जरूरत भी है और
सरकार की जिम्मेदारी भी कि वह सीएम की सुरक्षा को एवही ना ले.
जनता और नेताओं को घर, गाड़ी से ऊपर उठकर सोचना चाहिए. इस तरह हाय तौबा मचाने से सरकार का समय भी बर्बाद हो रहा है और लोगों का भी . जितने समय में अब अफसर केजरीवाल के लिए छोटा घर बनाने और सर्च करने में लगेगा उस समय में वे लोगों की बेहतरी के लिए कुछ काम कर लेते.
4 comments:
miss pawan Rekha pehle to mai bata dun public hay tauba nhi kar rhi.. kisi ne nhi bola tha k tum sarkaari gaadi na lo. kisi ne nhi bola tha tum sarkaari bunglow na lo. kyo isne election se pehle bola tha k sarkaari gaadi ka use nhi karenge. kyo bola tha k sarkaari gaadi use nhi karenge. kyo bola tha VIP number waali gaadi nhi use karenge.. kyo bola tha sheela dikshit ki jaanch karwaayenge or jail mei daalenge.. kyo 2 din tak metro or koi auto koi rikshaw mei aane ka dikhawa karte rhe jab tak confidence motion pass nhi hua.. 2 din tak hi dikhawa karna tha... jab yahi cheeje karni thi to inhi k against kyo bolaa.. or against b bola ab wahi cheej ye khud kar rhe hai.. congress ho ya SP jo b tut kar aata hai yaha pavittar ho jaaata hai.. phir uspe question uthne band ho jaate hai k currput hai k nhi.. ye sab dikhawa Kyo.. paani, bijli pe currption rokne ki baat thi tab rate kam karne ki baat thi direct subsidy deke vo b terms and condition pe.. koi teer nhi maar diya.. u r in news channel but think the reality.. bus tum logo ko inke peeche bhagna aata hai or kuch nhi.. y dont you people r trying to find out the details about the khulasa by binni on 28th decmber night. or kumar vishwas raat ko 2 baje uske ghar kya kheer khaane gye the.. hotel aman mei kya deal hui... in sabka pata laagayie madam.... andhi bhakti mei naa doobe.. isse umhari breaking news ban jayegi.. or sachahai duniya k saamne... isne koi teer nhi maara jo tum log ise hero bana k dikha rhe ho... abhi b AAm aadmi Paani kharid k hi peeta hai.. jaise pehle tha waise hi hai. jab result aaaye na tab baat akrna.. bina kiye kisi ko hero nhi baannnnattte just for News and TRP......
मिस्टर संजय, यह मेरी व्यक्तिगत राय है इसमें चैनल को घसीटने की जरूरत नहीं है. रिजल्ट क्या होगा इसके लिए आपको थोड़ा धैर्य रखना होगा. ज्यादा उतावले होने की जरूरत नहीं है. भावनात्मक होकर नहीं तथ्यों को ध्यान में रखकर सोचेंगे तो खुद समझ आ जाएगा आपको.
miss rekha.. can you please answer of these links given below..
http://zeenews.india.com/news/nation/arvind-kejriwal-misused-lokpal-agitation-funds-anna-hazare-in-video_891143.html
http://www.ndtv.com/article/assembly-polls/election-commission-notice-to-arvind-kejriwal-for-seeking-muslim-votes-on-grounds-of-religion-448805?curl=1388941261
http://www.ndtv.com/article/assembly-polls/election-commission-notice-to-arvind-kejriwal-for-seeking-muslim-votes-on-grounds-of-religion-448805?curl=1388941261
http://www.thehindu.com/todays-paper/tp-national/tp-newdelhi/kejriwal-justifies-demand-for-probe-into-batla-house-encounter/article4950895.ece
http://www.thehindu.com/todays-paper/tp-national/tp-newdelhi/kejriwal-justifies-demand-for-probe-into-batla-house-encounter/article4950895.ece
http://www.indianexpress.com/news/kejriwal-gets-ec-notice-for-seeking-muslim-votes-on-grounds-of-religion/1197390/
http://www.hindustantimes.com/india-news/delhi-metro/kejriwal-rejects-appeasement-charge-in-another-open-letter/article1-1096628.aspx
please answer these links miss AAP supporter
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